गोरखपुर में देवी-देवताओं की प्रतिमाओं और जलसा-जुलूसों में कुछ उत्साही युवा श्रद्धालु डीजे की तेज आवाज पर नाचते-झूमते और शोर मचाते जाते हैं। राजघाट पर गंदगी फैलाते हैं। लोग पूरी रात शोर-शराबे के चलते नींद भर सो नहीं पाते। डीजे की तेज धमक से बुजुर्गों की धड़कनें बढ़ जाती हैं।

लोगों का कहना है कि तेज धमक से बीमार, बुजुर्ग ही नहीं, बच्चों और गर्भवती महिलाओं की भी बेचैनी बढ़ जाती है। गणेश उत्सव तो बीत गया अब दुर्गापूजा-लक्ष्मीपूजा और छठ पर्व को लेकर चिंतित तमाम नागरिकों ने इस समस्या से निपटने को कमर कसी है। इससे संबंधित पर्चे भी बांटे हैं। वे अब तीन अक्तूबर को सिटी मजिस्ट्रेट से भी मिलेंगे। कार्रवाई नहीं होने पर आंदोलन की तैयारी भी कर रहे हैं।

प्रतिमाओं के विसर्जन के लिए ज्यादातर जुलूस रामजानकी मंदिर, बसंतपुर दुर्गा मिलन चौक से होकर गुजरते हैं। यहां के गणेश प्रतिमा विसर्जन के दौरान डीजे बजाए जाने की खबर को एक अक्तूबर को अमर उजाला ने प्रमुखता से प्रकाशित किया। अब इस समस्या से परेशान नागरिक मुखर होने लगे हैं। रविवार को रामजानकी मंदिर बसंतपुर में मोहल्ले के लोग जुटे और तय किया सभी लोग सिटी मजिस्ट्रेट से तीन अक्तूबर को मिलकर पत्रक सौंपेंगे।

वहीं, रात में हृदेश चंद सैनी, डॉ पवन कुमार, सत्यम यादव, विजय चौधरी, राजेश चौधरी, अरुण गुप्ता के साथ कई लोगों ने बसंतपुर, उर्दू बाजार, घंटाघर, रेती रोड, नखास चौक, बख्पीपुर और साहबगंज में जाकर दुकानदारों व सड़क के किनारे बने घराें में जाकर पर्चे बांटे और समर्थन मांगा।